कन्हैयालाल माणिकलाल मुंशी हिंदी तथा भाषाविज्ञान विद्यापीठ
K. M. Institute of Hindi & Linguistics (Paliwal Park Campus) |
Institute Information | ||||||
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विद्यापीठ : एक परिचय कन्हैयालाल माणिकलाल मुंशी हिंदी तथा भाषाविज्ञान विद्यापीठ, भारत के सबसे पुराने एवं प्रतिष्ठित संस्थानों में से एक है । डॉ० भीमराव अम्बेडकर विश्वविद्यालय (पूर्ववर्ती आगरा विश्वविद्यालय), आगरा का प्रतिष्ठित संस्थान 14 दिसम्बर 1953 को उत्तर प्रदेश के तत्कालीन राज्यपाल, गुजराती साहित्यकार एवं स्वतंत्रता संग्राम सेनानी श्री कन्हैयालाल माणिकलाल मुंशी की प्रेरणा से अस्तित्व में आया। इस विद्यापीठ का स्थापना की बीज उत्तर प्रदेश के उपकुलपतियों के सम्मेलन के एक सुझाव से प्रस्तुत हुआ । उपकुलपतियों का यह सम्मेलन जनवरी 1953, में लखनऊ में हुआ था, जिसमें ही यह निश्चय किया गया था कि राष्ट्रभाषा की प्रगति और समृद्धि में योगदान देने के लिए एक हिंदी विद्यापीठ आगरा विश्वविद्यालय में स्थापित किया जाना चाहिए, जिसमें हिंदी और अहिंदी भाषी क्षेत्रों के विद्यार्थी और विद्वान, एकत्र होकर इस महत्वपूर्ण कार्य को सम्पादित कर सके। विद्यापीठ स्थापना के पीछे के उद्देश्यों को रेखांकित करते हुए तत्कालीन राज्यपाल माननीय कन्हैयालाल माणिकलाल मुंशी जी ने कहा था-‘‘यह विद्यापीठ, मैं विश्वास करता हूँ, हिंदी को राष्ट्रभाषा के रूप में संवर्द्धित करेगा; हिंदी तथा अन्य आधुनिक भारतीय भाषाओं के तुलनात्मक अध्ययन का युग प्रारम्भ करेगा; हिंदी की संस्कृत की सम्पति और लचीलापन देकर ही संतोष ग्रहण नहीं करेगा, वरन् हमारी कुछ भातीय भाषाओं में मिलने वाले ओज, शक्ति तथा शब्दावली को भी ग्रहण करेगा । मैं आशा करता हूँ कि यह केवल हिंदी साहित्य के अध्ययन को ही प्रोत्साहन नहीं देगा वरन् भारत की विभिन्न भाषाओं के साहित्यों और उन अखिल भारतीय साहित्यिक आन्दोलनों के अध्ययन को भी प्रोत्साहन देगा, जिनसे हमारे समस्त साहित्य अनुप्राणित हुए हैं, और हिंदी के माध्यम से भाषा विषयक अनुसंधान और साहित्यिक उपलब्धियों का सर्वोपयोगी भंडार प्रस्तुत कर देगा।” अपने महत् उद्देश्यों के साथ विद्यापीठ का प्रारंभ 14 दिसम्बर 1953 ई० को तत्कालीन राज्यपाल माननीय कन्हैयालाल माणिकलाल मुंशी जी द्वारा किया गया । इसी दिन उत्तर प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री श्री गोविंदबल्लभ पंत द्वारा विद्यापीठ का शिलान्यास किया गया। जुलाई 1956 ई० से विद्यापीठ में अध्यापन कार्य प्रारंभ हुआ । अपनी स्थापना के साथ ही विद्यापीठ ने अनुसंधान के क्षेत्र में उच्च मानकों की स्थापना की है। न केवल हिंदी भाषा एवं साहित्य के क्षेत्र में अपितु संस्कृत, भाषाविज्ञान, जनसंचार एवं विदेशी भाषाओं के अध्ययन एवं अनुसंधान में विद्यापीठ गंभीरता से आगे बढ़ा है । गौरवपूर्ण अतीत, क्रियाशील वर्तमान एवं संभावनाओं से भरे भविष्य की समेकित दृष्टि ही विद्यापीठ का संबल है । |
विद्यापीठ में संचालित विभागों का विवरण |
क्र०संo | नाम | पद | मोबाइल नं० | ई-मेल |
हिंदी विभाग | ||||
01. | निदेशक, हिंदी विद्यापीठ, आचार्य एवं अध्यक्ष, हिंदी विभाग | 9837350986 | pks22july@gmail.com | |
02. | आचार्य | 90131801163 | ||
03. | अतिथि व्याख्याता | 9412330077 | drkeshav45@gmail.com | |
04. | अतिथि व्याख्याता | 9412330077 | drrajkumaragra1970@gmail.com | |
05. | अतिथि व्याख्याता | 9359365789 | nitu_bansal2012redifmail.com | |
06. | अतिथि व्याख्याता | 7351299754 | amit2k81@gmail.com | |
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भाषाविज्ञान विभाग | ||||
01. | प्रो. यू.सी. शर्मा | आचार्य एवं अध्यक्ष | 7500068555 | scumesh51@yahoo.co.in |
02. | असिस्टेंट प्रोफेसर | 7417890936 | dr.neelam2012yadav@gmail.com | |
03. | असिस्टेंट प्रोफेसर | 8650029885 | ranjeet.lt35@gmail.com | |
04. | असिस्टेंट प्रोफेसर | 8171195415 | riteshjnu@gmail.com | |
05. | असिस्टेंट प्रोफेसर | 8588841674 | pallaviarya@gmail.com | |
संस्कृत विभाग | ||||
01. | अतिथि व्याख्याता | 9997875926 | ||
02. | अतिथि व्याख्याता | 9411462169 | ||
03. | अतिथि व्याख्याता | 9412671851 | shivajipandey7@gmail.com | |
04. | अतिथि व्याख्याता | 8532801131 | acharyaarun18@gmail.com | |
पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग | ||||
01. |
| विभागाध्यक्ष |
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02. |
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03. |
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विदेशी भाषा विभाग | ||||
01. | अतिथि व्याख्याता | 9837610539 | udai.nasheman@gmail.com | |
02. | अतिथि व्याख्याता | 8909346113 | ||
03. | अतिथि व्याख्याता | 9412384479 | pradeepfrench@gmail.com | |
04. | अतिथि व्याख्याता | 9411082984 | adityafrenchbhu@gmail.com | |
05. | अतिथि व्याख्याता | 9760667528 | vishalescort@gmail.com | |
06. | अतिथि व्याख्याता | 9457202338 | russiar7@gmail.com |
पाठ्यक्रम/उपाधि का नाम | समयावधि | न्यूनतम योग्यता | प्रवेश प्रक्रिया | स्वीकृत छात्र संख्या | फीस |
बी. ए. भाषाविज्ञान | (आनर्स )3 वर्ष (6 सेमेस्टर) | 12 वीं कक्षा उत्तीर्ण | प्रवेश परीक्षा / साक्षात्कार एवं अकादमिक अभिलेखों के आधार पर | 30 | |
बी. ए. (आनर्स ) हिंदी | 3 वर्ष (6 सेमेस्टर) | 12 वीं कक्षा उत्तीर्ण | प्रवेश परीक्षा / साक्षात्कार एवं अकादमिक अभिलेखों के आधार पर | 60 | |
डिप्लोमा भाषाविज्ञान | 1 वर्ष (2 सेमेस्टर) | स्नातक 50 प्रतिशत अंको के साथ | साक्षात्कार | 20 | |
स्नातकोत्तर डिप्लोमा (अनुवाद प्रौद्योगिकी / Translation Technology) | 1 वर्ष (2 सेमेस्टर) | स्नातक 50 प्रतिशत अंको के साथ | साक्षात्कार | 15 | |
एम. ए.(फ्रेंच) | 2 वर्ष (4 सेमेस्टर) | स्नातक 50 प्रतिशत अंको के साथ | साक्षात्कार | 15 | |
डी. लिट्. (हिंदी, संस्कृत, भाषाविज्ञान) | 1-7 वर्ष | पी-एच. डी. | साक्षात्कार | — | |
पी-एच. डी. (हिंदी, संस्कृत, भाषाविज्ञान) | 2-4 वर्ष | एम. ए. एम. फिल् | प्रवेश परीक्षा एवं साक्षात्कार | 8 शोधार्थी प्रत्येक शिक्षक | |
एम. फिल्. (हिंदी, संस्कृत, भाषाविज्ञान) | 1 वर्ष (दो सेमेस्टर) | एम. ए. 55 प्रतिशत अंको के साथ | प्रवेश परीक्षा एवं साक्षात्कार | प्रत्येक विषय में 30 | |
एम. ए. (हिंदी, संस्कृत, भाषाविज्ञान एवं पत्रकारिता) | 2 वर्ष (चार सेमेस्टर) | स्नातक 50 प्रतिशत अंको के साथ | साक्षात्कार | प्रत्येक विषय में 30 | |
डिप्लोमा (फ्रेंच, जर्मन एवं रशियन) | 1 वर्ष (दो सेमेस्टर) | संबंधित भाषा में सर्टिफिकेट पाठ्यक्रम उत्तीर्ण | प्रवेश परीक्षा / साक्षात्कार एवं अकादमिक अभिलेखों के आधार पर | प्रत्येक भाषा में 30 | |
सर्टिफिकेट (फ्रेंच, जर्मन एवं रशियन) | 1 वर्ष (दो सेमेस्टर) | 12 वीं कक्षा उत्तीर्ण | प्रवेश परीक्षा / साक्षात्कार एवं अकादमिक अभिलेखों के आधार पर | प्रत्येक भाषा में 50 | |
स्नातकोत्तर डिप्लोमा (पत्रकारिता एवं जनसंचार) | 1 वर्ष (दो सेमेस्टर) | एम. ए. उत्तीर्ण | साक्षात्कार | 20 | |
अनुसंधान के क्षेत्र
लोक साहित्य, आधुनिक हिंदी साहित्य, तुलनात्मक साहित्य, दलित विमर्श, स्त्री विमूर्श, आदिवासी विमर्श, पाठालोचन, प्रयोजन मूलक हिंदी, आधुनिक जनसंचार एवं पत्रकारिता, ध्वनि वैज्ञानिक भाषाई सर्वेक्षण, संस्कृत व्याकरण एवं दर्शन का अध्ययन, आधुनिक संस्कृत साहित्य।
अब तक 517 शोधार्थियों ने विद्यापीठ से पी-एच०डी० उपाधि एवं डी०लिट्० की उपाधि प्राप्त की है।
विभागीय उपलब्धियाँ :
30 अक्टूबर 2010 को तत्कालीन राज्यपाल माननीय श्री बी. एल. जोशी द्वारा विद्यापीठ के पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग के अन्तर्गत आगरा की आवाज नामक रेडियो स्टेशन का प्रारम्भ किया गया । यह एक ऐतिहासिक उपलब्धि है।
हिंदी विभाग द्वारा सात दिवसीय अन्तरराष्ट्रीय कार्यशाला ‘हिंदी का राष्ट्रीय एवं अन्तरराष्ट्रीय परिदृश्य” शीर्षक से (25 अप्रैल -01 मई 2016) आयोजित की गयी ।
भाषाविज्ञान विभाग ने निम्न कार्यक्रम आयोजित किये –
- द्वितीय राष्ट्रीय कार्यशाला “Language description and Sciences WORLDS-2” शीर्षक से (7 अगस्त – 11 अगस्त 2015 तक) आयोजित की गयी ।
- University of Huersfield UK के सहयोग से “Automatic Detection of Aggression in Hindi and English Speech” शीर्षक से अंतरराष्ट्रीय कार्यशाला का आयोजन 6 दिसम्बर 2015 से 12 दिसम्बर 2015 तक किया गया ।
- “Endangered and Lesser Known Language ELKL-4” शीर्षक से चौथी अन्तरराष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन 25 फरवरी 2016 से 27 फरवरी 2016 तक किया गया ।
संस्कृत विभाग द्वारा निम्न अकादमी कार्यक्रम आयोजित किये गये –
- “संस्कृत संभाषण प्रशिक्षण” की 15 दिवसीय कार्यशाला 1 मार्च 2016 से 15 मार्च 2016 तक आयोजित की गयी ।
- 01 मार्च 2016 से 05 मार्च 2016 तक 5 दिवसीय संस्कृत विज्ञान प्रदर्शनी का आयोजन किया गया ।
क० मुं० हिंदी तथा भाषाविज्ञान विद्यापीठ में संचालित विभाग
- हिंदी अध्ययन विभाग
- भाषाविज्ञान विभाग (भाषाविज्ञान विभाग वेबसाइट- http://linguistics.ctrans.in )
- संस्कृत विभाग
- विदेशी भाषा विभाग
- जनसंचार एवं पत्रकारिता विभाग